Ardhanarishvara Ashtakam (official video)

Details
Title | Ardhanarishvara Ashtakam (official video) |
Author | Imaginative Insight |
Duration | 4:30 |
File Format | MP3 / MP4 |
Original URL | https://youtube.com/watch?v=lUnf0XZPDIM |
Description
अर्थ (हिन्दी में)
1. जिनके काले घने बाल बादलों के समान हैं और जटाओं में विद्युत की तरह चमक है, वे दोनों (शिव और शिवा) समस्त ब्रह्मांड के स्वामी और स्वामिनी हैं। मैं उन अर्धनारीश्वर को नमन करता हूँ।
2. जिनके कानों में जगमगाते रत्नों के कुण्डल हैं और जो विशाल नागों को आभूषण के रूप में धारण करते हैं, वे शिव और शिवा एक-दूसरे के प्रिय हैं। मैं उन्हें प्रणाम करता हूँ।
3. जो मन्दार पुष्पों की माला और हड्डियों से बनी माला पहनते हैं, जिनका एक भाग दिव्य वस्त्र और दूसरा दिगम्बर है, मैं उन अर्धनारीश्वर को नमन करता हूँ।
4. जो कस्तूरी और कुंकुम का लेप धारण करते हैं और श्मशान की भस्म को अपने शरीर पर लगाते हैं, वे शिव और शिवा सृष्टि और संहार दोनों के प्रतीक हैं। मैं उन्हें नमन करता हूँ।
5. जिनके चरण-कमलों में हंस समर्पित होते हैं, जिनके चरणों में नाग के बने नूपुर शोभा पाते हैं, वे शिव और शिवा कलाओं से परिपूर्ण हैं। मैं उन्हें प्रणाम करता हूँ।
6. जो सृष्टि के निर्माण के लिए नृत्य करते हैं और संहार के लिए तांडव करते हैं, जिनकी दृष्टि सम और विषम दोनों रूपों में है, मैं उन अर्धनारीश्वर को नमन करता हूँ।
7. जिनकी आँखें खिलते हुए नीलकमल और विकसित कमल के समान हैं, जो संसार की माता और पिता दोनों हैं, मैं उन अर्धनारीश्वर को प्रणाम करता हूँ।
8. जो अंदर, बाहर, ऊपर, नीचे, मध्य, और हर दिशा में व्याप्त हैं, जो संपूर्ण और सब कुछ को समाहित करते हैं, मैं उन अर्धनारीश्वर को नमन करता हूँ।
श्लोक का महत्व:
जो इस स्तोत्र को पढ़ते या सुनते हैं, वे भगवान शिव और माँ पार्वती के दिव्य स्वरूप के दर्शन पाते हैं और शिवलोक में स्थान प्राप्त करते हैं।
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